(उत्तराखण्ड) बेतालघाट/नैनीताल : खनन माफिया के हौसले बुलंद, गजब की करतूत…..खनन कारोबारी द्वारा विभागीय अधिकारियों से मिलकर किसानों की भूमि पर अवैध कब्जा
(उत्तराखण्ड) बेतालघाट/नैनीताल : खनन माफिया के हौसले बुलंद, गजब की करतूत…..खनन कारोबारी द्वारा विभागीय अधिकारियों से मिलकर किसानों की भूमि पर अवैध कब्जा
कृषि भूमि पर फर्जी दस्तावेज व फर्जी हस्ताक्षरों से खनन विभाग से ले ली उप खनिज भण्डारण की अनुमति
मामला खुलने पर पहले तो खनन कारोबारी ने ग्रामीणों को बड़े फायदे का लालच देकर गुमराह किया और अब धमकी देने उतारू
आक्रोशित किसानों ने अवैध उपखनिज भण्डारण पर त्वरित रोक लगाने हेतु उप जिलाधिकारी को सौंपा ज्ञापन
कुमाऊं आयुक्त,जिलाधिकारी व भूतत्व एवं खनिकर्म निदेशक को भी भेजी शिकायत
बेतालघाट ( नैनीताल ), जनपद के बेतालघाट विकासखण्ड अन्तर्गत ग्राम सभा खैरनी के बढेरी तोक में खनन माफिया की किसान विरोधी कारनामों से यहाँ के वासिन्दे पहले से ही परेशान थे, अब ऐसे ही एक और मामले ने काश्तकारों की नींद उड़ा दी है।
एक स्थानीय खनन कारोबारी द्वारा सम्बन्धित विभागीय अधिकारियों से मिलीभगत कर ग्रामसभा खैरनी के बढेरी तोक में किसानों की भूमिधरी कृषि भूमि पर पहल तो अवैध कब्जा कर लिया, फिर फर्जी दस्तावेजों एवं फर्जी हस्ताक्षरों के जरिये खनन विभाग से अवैध उपखनिज भण्डारण की अनुमति ले ली।
स्थानीय खनन कारोबारी पुष्कर महरा द्वारा ग्रामीणों की उपजाऊ कृषि भूमि कब्जाने की कथित साजिश के खिलाफ बीते दिवस स्थानीय काश्तकार विरेन्द्र सिंह के नेतृत्व में आक्रोशित ग्रामीणों का एक शिष्टमण्डल उपजिलाधिकारी श्री कैंची धाम से मिला और एक ज्ञापन सौंपकर उक्त खनन कारोबारी द्वारा उप खनिज भण्डारण हेतु कब्जाई भूमि को तत्काल खाली कराने और भण्डारण की अनुमति निरस्त कराने के साथ ही खनन कारोबारी के विरुद्ध सख्त कार्यवाही करने की मांग की।
काश्तकार विरेन्द्र जन्तवाल ने बताया है कि किसानों से वस्तु स्थिति जानने के बाद उप जिलाधिकारी श्री कैंची धाम ( कोश्या कुटोली ) ने काश्तकारों को जल्द ही जांच कर समुचित कार्यवाही का भरोसा दिलाया है।
विरेन्द्र सिंह का कहना है कि खनन कारोबारी पुष्कर महरा ने स्थानीय काश्तकारों और ग्रामीणों को विश्वास में लिए वगैर सम्बन्धित विभागीय अधिकारियों से चुपचाप फर्जी दस्तावेज तैयार करा लिये, तत्पश्चात काश्तकारो के फर्जी दस्तखत के जरिये खनन विभाग से उपजाऊ कृषि भूमि पर उपखनिज के अवैध भण्डारण की अनुमति ले ली और 15 से 20 नाली भूमि पर अवैध कब्जा कर लिया ।
उन्होंने यह भी बताया है कि सारा मामला खुलने पर खनन कारोबारी श्री महरा ने सीधे साधे ग्रामीणों को गुमराह करने की साजिश रची। इसके तहत उसने पहले तो किसानों को बड़े-बड़े फायदे दिलाने का लालच देकर शान्त कर दिया लेकिन जब लम्बे समय तक उसने ऐसा कुछ नहीं किया और भरोसे के उलट ग्रामीणों को धमकाना शुरू कर दिया तो ग्रामीणों का पारा चढ़ना स्वाभाविक था।
काश्तकार बिरेन्द्र सिंह जन्तवाल ने बताया है कि पीड़ित काश्तकारो ने उपजिलाधिकारी श्री कैंचीधाम से मिलकर आरोपी के खिलाफ सख्त दण्डात्मक कार्यवाही की मॉग की है। उन्होंने यह भी कहा है कि इस बाबत कुमाऊं आयुक्त, जिलाधिकारी नैनीताल , जिला खान अधिकारी व भूतत्व एवं खनिकर्म निदेशक देहरादून को भी पत्र भेजकर मामले में गम्भीरता से संज्ञान देने का अनुरोध किया गया है।
बताते चलें कि खैरनी ग्राम सभा के बढेरी तोक में स्टोन क्रेशर मालिकों तथा खनन कारोबारियों द्वारा कृषि भूमि, गोचर भूमि व भारत सरकार की भूमि पर बड़े पैमाने पर कब्जे के मामले लम्बे समय से ग्रामीणों द्वारा उठाये जा रहे हैं, लेकिन ग्रामीणो की आवाज लगातार दबायी जाती रही है, यही कारण है कि अब ग्रामीण निर्णायक लड़ाई का मन बना रहे हैं ।
बहरहाल ज्ञापन सौंपने वालों में विरेन्द्र सिंह के अलावा मदन सिंह, पदम सिंह, संदीप सिंह, लक्ष्मण सिंह, कैलाश सिंह, पूरन सिंह, प्रकाश सिंह, शंकर सिंह, किशन सिंह, बचुली देवी, मोहनी देवी, नीमा देवी, दीपा देवी, चम्पा देवी, सरिता देवी, भावना देवी, दुष्पा देवी, बचे सिंह, टीका सिंह व दीवान सिंह समेत अन्य ग्रामीण शामिल थे।